पंजाब में अब सांझा ग्रामीण जमीन की मालिक होंगी ग्राम पंचायतें

CHANDIGARH, 26 SEPTEMBER: एक अहम फ़ैसले में मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व अधीन पंजाब मंत्रीमंडल ने जुमला मुश्तरका मालकान ज़मीन (सांझी ग्रामीण ज़मीन) के पूर्ण स्वामित्व ग्राम पंचायतों को देने के लिए पंजाब विलेज़ कॉमन लैंडज़ (रैगूलेशन) एक्ट 1961 की धारा 2 (जी) में संशोधन को मंजूरी दे दी। इस सम्बन्धी फ़ैसला आज यहाँ मुख्यमंत्री के नेतृत्व अधीन उनके अधिकारिक निवास पर हुई मंत्री समूह की मीटिंग में लिया गया।

मुख्यमंत्री कार्यालय के प्रवक्ता ने बताया कि इस संशोधन से अब जुमला मुश्तरका मालकान ज़मीन ( सांझी ग्रामीण ज़मीन) के मालिक सिर्फ़ ग्राम पंचायतें होंगी। धारा 2 (जी) में से इस संशोधन के मुताबिक ईस्ट पंजाब होलडिंगज़ (कंसोलीडेशन एंड प्रीवेन्शन आफ फरैगमैंटेशन) एक्ट, 1948 ( ईस्ट पंजाब एक्ट 50 आफ 1948) की धारा 18 के अधीन गाँव के सांझे मंतव्यों के लिए आरक्षित रखी ज़मीन का प्रबंध और कंट्रोल उपरोक्त एक्ट की धारा 23-ए के अंतर्गत ग्राम पंचायत का होगा। इसके अंतर्गत स्वामित्व रिकार्ड के कॉलम में दर जुमला मालकान वा दिगर हक्कदारान अर्ज़ी हसब रसद, जुमला मालकान या मुश्तरका मालकान के तौर पर दर्ज ज़मीन को इस धारा के घेरे में शामलात देह ज़मीन माना जायेगा।

पराली जलाने की समस्या को रोकने और इसके उचित निपटारे के लिए मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व अधीन पंजाब कैबिनेट ने सोमवार को औद्योगिक और व्यापार विकास पालिसी-2017 और डीटेल्ड स्कीमज़ एंड अपरेशनल गाईडलाईनज़-2018 में संशोधन करने को मंज़ूरी दे दी, जिसके अंतर्गत पराली को ईंधन के तौर पर बरतने वाले ब्वाइलर लाने के लिए स्टैंडअलोन बायो-इथानौल इकाईयों के लिए बायो फ्यूल प्रोजेक्टों के लिए रियायतें दीं गई हैं। पराली आधारित ब्वाइलरों के प्रयोग की प्रौद्यौगिकी विकसित हो रही है और जो कोई इकाईयाँ पराली को ईंधन के तौर पर बरतने वाले ब्वाइलर नहीं लगाएंगी, उनको 50 प्रतिशत कम रियायतें मिलेंगी। इस छूट से भारत सरकार के इथानौल ब्लैंडिड पेट्रोल ( ई. बी. पी.) प्रोग्राम के लिए इथानौल का उत्पादन और सप्लाई में विस्तार होगा और इस क्षेत्र में निवेश और रोज़गार के मौके भी बढ़ेंगे। इसके इलावा पराली का उपयुक्त निपटारा यकीनी बनेगा, जिससे राज्य में पराली जलाने की समस्या से निजात मिलेगी।

राज्य में 5जी नैटवर्क के लिए रास्ता साफ 

पंजाब में 5जी डिजिटल बुनियादी ढांचे की तेज़ी से तैनाती के लिए नयी पीढ़ी के सैलों की स्थापना के लिए स्ट्रीट फर्नीचर के प्रयोग के लिए पंजाब कैबिनेट ने इंडियन टेलीग्राफ राइट आफ वे रूल्ज़ 2016 के नियम 2021 के संशोधन की तर्ज़ पर टेलीकॉम इन्फ्रास्ट्रक्चर गाईडलाईनज़ 2020 में और गाईडलाईनज़ रैगुलराईजेशन टावरज़ 2022 में संशोधन को मंजूरी के दी। इसके नतीजे के तौर पर 5जी/ 4जी ( डिजिटल बुनियादी ढांचे) की तैनाती के लिए नयी पीढ़ी के सैल लाने के लिए स्ट्रीट फर्नीचर का प्रयोग और ज़मीन पर टेलीकम्युनिकेशन ढांचे की स्थापना की इजाज़त होगी, जिससे संचार साधनों में सुधार होगा और राज्य के लोगों को इससे फ़ायदा मिलेगा।

पंजाब गुड्डज़ और सर्विसेज़ टैक्स एक्ट 2017 में संशोधन की मंज़ूरी

कैबिनेट ने राज्य में व्यापार करने को और आसान बनाने और करदाताओं को सुविधा देने के लिए पंजाब गुड्डज़ और सर्विसेज़ टैक्स एक्ट, 2017 में संशोधन को भी मंज़ूरी दे दी। इस संशोधन से रिटरन भरने से सम्बन्धित समूची प्रक्रिया सुचारू और रिफंड को तर्कसंगत बनाने में मदद मिलेगी। इससे गलत तरीके से लिए गए और इस्तेमाल किये गए इनपुट्ट टैक्स क्रेडिट पर ही ब्याज लगना यकीनी बनेगा।

बठिंडा में बल्क ड्रग पार्क की स्थापना का प्रस्ताव वापिस लेने की सहमति

कैबिनेट ने बठिंडा में थर्मल प्लांट की जगह बल्क ड्रग पार्क स्थापित करने के प्रस्ताव को वापस लेने की सहमति दे दी जिससे इस ज़मीन का प्रयोग आवास निर्माण/ आधुनिक रिहायशी कम्पलैक्स/होटल/ कमर्शियल प्रोजैक्ट और प्लास्टिक पार्क, सोलर ऊर्जा और अन्य नागरिक सेवाओं वाले प्रोजेक्टों के लिए किया जा सके। ज़िक्रयोग्य है कि पंजाब सरकार ने देश में बल्क ड्रग पार्क स्थापित करने की स्कीम के अधीन अक्तूबर 2020 में बठिंडा में थर्मल प्लांट वाली जगह पर बल्क ड्रग पार्क स्थापित करने का प्रस्ताव भेजा था। डेढ़ साल से अधिक का समय बीत जाने के बाद भी यह प्रोजैक्ट लटक रहा है और इसलिए भारत सरकार की मंजूरी का इंतज़ार है।

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