सुनियोजित हत्या करने के लिए गिरोह तैयार कर रहा जसप्रीत उर्फ नूपी साल 2012 में भारतीय फौज में हुआ था भर्ती: डीजीपी
CHANDIGARH: पंजाब पुलिस ने मंगलवार को विदेश में स्थित खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (के.एल.एफ.) की शह पर सुनियोजित हत्याएं करने के लिए 4 गुर्गों को गिरफ्तार करके एक अन्य गिरोह का पर्दाफाश किया है, जिसमें अप्रैल 2021 के दौरान पटियाला जेल तोड़ कर फरार होने वाला भारतीय फौज का एक पूर्व सिपाही भी शामिल है।
डीजीपी पंजाब दिनकर गुप्ता ने कहा कि दोषी जसप्रीत सिंह उर्फ नूपी, जो कि साल 2012 में सिपाही के तौर पर भारतीय फौज में भर्ती हुआ था, को 2017 में एक कत्ल केस में जेल भेज दिया गया था। उन्होंने बताया कि जेल से फरार होने के बाद नूपी विदेश अधारित केएलएफ के हैंडलरों के संपर्क में आया और उसको राज्य में सुनियोजित हत्याएं करने के लिए आतंकवादी गिरोह बनाने के लिए प्रेरित किया।
गुप्ता ने बताया कि गिरफ्तार किये अन्य तीन व्यक्तियों की पहचान रोपड़ के गाँव फतेहपुर बुंगा के निवासी जसविन्दर सिंह, जिला सिरसा के गाँव कलिआवाला के गौरव जैन उर्फ मिंकू और मेरठ यूपी के निवासी प्रशांत सिलेन उर्फ कबीर जो कि मौजूदा समय के दौरान चण्डीगढ़ के धनास में रह रहा है, के तौर पर हुई है।
इस सम्बन्धी और जानकारी देते हुए एस.एस.पी. खन्ना गुरशरन सिंह ग्रेवाल ने बताया कि सूचना मिलने के बाद खन्ना पुलिस ने जी.टी रोड खन्ना में विशेष चैकिंग के दौरान एक ईटीओस कार को रोका और कार में से बाहर निकले तीन व्यक्तियों ने पुलिस पार्टी पर गोलियां चला कर भागने की कोशिश की। हालाँकि, पुलिस पार्टी ने जसविन्दर और मिंकू को मौके पर काबू कर लिया, जब कि नूपी को बाद में उसके एक अन्य साथी, कबीर सहित गिरफ्तार कर किया गया।
पुलिस ने दोषी व्यक्तियों के कब्जे से दो 0.32 बोर पिस्तौल समेत 4 मैगजीन और हथियार भी बरामद किये हैं। इसके अलावा नकली रजिस्ट्रेशन नंबर पीबी 01 ए.एस 6845 वाली एक ईटीओस कार, जिसको नूपी ने पिछले महीने जीरकपुर से बंदूक की नोक पर छीन लिया था, को भी बरामद किया।
डीजीपी दिनकर गुप्ता ने बताया कि जांच के दौरान नूपी ने कबूल किया कि उसने अपने साथियों की मदद से 3 जुलाई, 2021 को खरड़ के एक पेट्रोल पंप से 50000 रुपए लूटने के अलावा ईटीओस कार भी छीनी थी।
डीजीपी दिनकर गुप्ता ने बताया कि नूपी ने खुलासा किया कि वह आतंकवादी भारत विरोधी व्यक्तियों और के.एल.एफ. के आतंकवादी संगठन के साथ सम्बन्ध रखने वाले विदेशी तत्वों के संपर्क में आया था जिन्होंने उसे विदेश से पंजाब में सुनियोजित हत्याएं करने के लिए फंड मुहैया करवाए थे और पंजाब में आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए के लिए यू.पी. से पिस्तौलों का प्रबंध भी किया था। उन्होंने आगे कहा कि नूपी ने अपने हिंसक इरादों को अंजाम देने के लिए पंजाब में उच्च संवेदनशील क्षेत्रों की रेकी भी की थी।
एस.एस..पी खन्ना ने बताया कि प्रारंभिक जांच से पता लगा है कि मॉड्यूल ने वेस्टर्न यूनियन, पेटीऐम आदि सहित विभिन्न डिजिटल प्लेटफार्मों के द्वारा वित्तीय सहायता प्राप्त की और विदेशी हैंडलजऱ् की तरफ से उत्तराखंड के रुद्रपुर से मॉड्यूल को तीन हथियार मुहैया करवाए गए थे और इस सम्बन्धी अगली जांच जारी है।
इस दौरान थाना सिटी -2 खन्ना में आइपीसी की धारा 379-बी, 411/34, 307, 332 और 336 और आमजऱ् एक्ट की धारा 25 के अधीन तारीख 04.07.21 को एफआईआर न. 140 दर्ज की गई है।