कहा- केंद्र सरकार अपने अधिकार क्षेत्र को बरतने की बजाय किसानों के हितों को पहल दे
भाजपा की सीनियर लीडरशिप को केंद्रीय कानूनों के फायदों बारे समझाने का दिया न्यौता
‘आप’ और अकाली दल को ‘पलटू’ रोग से पीडि़त बताया
पंजाब सरकार द्वारा पास किए गए बिलों बारे पंजाब कांग्रेस ग्रामीण स्तर पर शुरु करेगी मुहिम
CHANDIGARH: पंजाब सरकार द्वारा किसान विरोधी केंद्रीय खेती कानूनों से राज्य के कसानों को बचाने के लिए पंजाब विधानसभा में पास किये गए बिलों बारे शिरोमणि अकाली दल के प्रधान सुखबीर सिंह बादल की चुप्पी पर प्रश्न चिन्ह लागाते हुए पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रधान सुनील जाखड़ ने कहा है कि यह चुप्पी बड़ी सियासी साजि़श का हिस्सा है और इसके पीछे भाजपा के साथ कोई सियासी साँठ-गाँठ का होना प्रतीत होता है।
यहाँ आज पंजाब भवन में कैबिनेट मंत्री भारत भूषण आशू, संसद मैंबर मुहम्मद सदीक, विधायक कुलजीत सिंह नागरा, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के सलाहकार कैप्टन सन्दीप संधू और पंजाब यूथ कांग्रेस के प्रधान बरिंदर ढिल्लों की हाजऱी में पत्रकारों को संबोधन करते हुए सुनील जाखड़ ने कहा कि कैप्टन अमरिंदर सिंह ने पंजाब की आर्थिकता की रीढ़ की हड्डी किसानी को बचाने और देश के संघीय ढांचे को बनाए रखने के लिए पंजाब विधानसभा में बिल लाकर इतिहास रचा है और कांग्रेस के साथ-साथ दूसरे राज्यों की ग़ैर भाजपा या भाजपा की सहयोगी पार्टियों की सरकारों को भी रास्ता दिखाया है।
ये सरकारें भी पंजाब के नक्शे-कदम पर चलते हुए अपनी विधानसभाओं में ऐसे बिल ला सकती हैं।कांग्रेस प्रधान ने ‘आप’ को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि पार्टी ने पहले तो विधानसभा में इन बिलों का खुलकर समर्थन करते हुए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह की भरपूर प्रशंसा की परन्तु बाद में आकर इसके कानूनी आधार पर शोर मचाकर पार्टी के ‘पलटू’ रोग से पीड़त होने का सबूत दिया।
उन्होंने कहा कि पहले अकाली दल तीन महीने तक इन केंद्रीय खेती बिलों का गुणगान करता रहा और फिर एकदम ‘पलटू’ रोग से पीडि़त होने का सबूत देते हुए इनको काले कानून बताने लग पड़ा। अब अकाली दल की तजऱ् पर ही ‘आप’ भी इसी रोग से पीडि़त हो चुकी है और पहले विधानसभा में बिलों का समर्थन करने के बाद अब इसकी कानूनी ख़ामियाँ निकालने लग पड़ी है।
जाखड़ ने कहा कि अकाली दल और ‘आप ’ पंजाब को मंडी घोषित करने का जो शोर मचा रही हैं, उसके साथ किसी और का नहीं, बल्कि पंजाब के छोटे व्यापारियों का नुक्सान होगा क्योंकि यदि हमने पूरे पंजाब को ही मंडी घोषित कर दिया तो गावों में बैठे छोटे दुकानदार और अन्य काम-धंधे करने वाले भी मंडी टैक्स और अन्य कानूनों के घेरे में आ जाएंगे। इस कारण उनको बड़ी आर्थिक चोट पहुंचेगी।
पंजाब कांग्रेस की तरफ से पंजाब के बिलों बारे ग्रामीण स्तर पर मुहिम शुरू करने का ऐलान करते हुए उन्होंने कहा कि कैप्टन अमरिंदर सिंह ने पूरे मुल्क को एक नयी राह दखायी है क्योंकि यह मुद्दा अकेले पंजाब का नहीं, बल्कि पूरे देश का है। भाजपा की केंद्रीय लीडरशिप और केंद्रीय मंत्रियों को खेती कानूनों बारे बहस की चुनौती देते हुए पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रधान ने कहा कि मेरे (जाखड़) साथ इन कानूनों के किसान हित संबंधी पहलूओं बारे कभी भी और कहीं भी चर्चा कर सकते हैं।
अगर इसमें कोई दिक्कत आती है तो वह मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह से इस बाबत औपचारिक आमंत्रण भी भिजवा देंगे। उन्होंने यह भी कहा कि पंजाब विधानसभा में भाजपा के प्रतिनिधि दो सदस्यों के पास पूरे सदन को केंद्रीय कानूनों संबंधी रौशनी डालने का सुनहरी मौका था, जो उन्होंने गंवा लिया और वह पंजाब विधानसभा के विशेष सैशन के बीच में से गैरहाजिऱ होकर उन्होंने पंजाब के लोगों के साथ विश्वासघात किया है।