वायु की गुणवत्ता का अब मौसम विभाग की तरह तीन दिन पहले पता चलेगा
CHANDIGARH, 22 SEPTEMBER: हरियाणा प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने एनसीआर में ग्रेेडिड रिस्पोंस एक्शन प्लान (ग्रैप) लागू होने जा रहा है जिसके तहत गुरुग्राम में पहली अक्तूबर से डीजी सैट के संचालन पर प्रतिबंध लग जाएगा। केवल आवश्यक सेवाओं जैसे अस्पताल, मैडिकल उपकरण चलाने, सेना से संबंधित कार्यों या अन्य इमरजेंसी हालातों में ही डीजी सैट के प्रयोग की अनुमति होगी।
हरियाणा प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के चेयरमेन पी राघवेंद्र राव ने आज चण्डीगढ़ से वीडियों कॉन्फें्रसिंग के माध्यम से ग्रेडिड रिस्पोंस एक्शन प्लान (ग्रैप) को लेकर प्रदेश के सभी जिलों के अधिकारियों के साथ बैठक की। उन्होंने कहा कि इस बार एनसीआर में संशोधित गै्रप लागू किया जा रहा है जिसके तहत वायु की गुणवत्ता के आधार पर गै्रप को अलग-अलग चार स्टेज में विभाजित किया गया है। एक्यूआई अर्थात् एयर क्वालिटी इंडेक्स 200 से ऊपर पहुंचने पर पहली स्टेज ‘पूअर‘ (खराब) की होगी, 300 से ऊपर एक्यूआई जाने पर दूसरी स्टेज ‘वैरी पूअर‘ (ज्यादा खराब), एक्युआई 400 से ऊपर जाने पर स्टेज तीन ‘सीवियर‘ (गंभीर) तथा एक्युआई 450 से ऊपर जाने पर स्टेज चार ‘वैरी सीवियर‘ (अति गंभीर) की होगी।
उन्होंने कहा कि गै्रप लागू होने पर उद्योगों में क्लीन फ्यूल के प्रयोग पर बल दिया जाएगा। जिन उद्योगों में पीएनजी गैस की सप्लाई है, वे अपने यहां गैस का प्रयोग करेंगे और जिन उद्योगों में गैस की आपूर्ति अभी तक नहीं हो पाई है वे बायोमास का प्रयोग फ्यूल के तौर पर करें। जहां पर गैस की पाईप लाईन ही नहीं है और बायोमास भी उपलब्ध नहीं है वे अगले तीन महीने कोयले का प्रयोग कर सकते हैं लेकिन एक जनवरी 2023 से उन्हें हर हाल में गैस पर संचालन करना होगा।
उन्होंने कहा कि मौसम विभाग की तरह इंडियन इस्टीट्यूट ऑफ ट्रॉपिकल मेटिरियोलॉजी वायु की गुणवत्ता के बारे में तीन दिन पहले ही पूर्व अनुमान बताएगा।
उन्होंने अधिकारियों से यह भी कहा कि वे ढाबा, होटल और रेस्टोरेंट आदि में कोयले के प्रयोग पर प्रतिबंध लगाना सुनिश्चित करें। इसके साथ उन्होंने कहा कि सभी जिलों में एक जिला पर्यावरण योजना (डिस्ट्रिक्ट एनवायरमेंट प्लान) तैयार की जाए। वायु प्रदूषण की रोकथाम में लिए विशेष मॉनिटरिंग टीमों का गठन करने और रात को पैट्रोलिंग करवाने के साथ आकस्मिक तौर पर चैकिंग करवाने की हिदायत भी दी।