चंडीगढ़ प्रदेश कांग्रेस ने प्रशासक को सौंपा 10 सूत्रीय ज्ञापनः बबला व लक्की ने बदनौर के साथ की मीटिंग, जानिए कौन से मुद्दे उठाए और क्या कहा

CHANDIGARH: चंडीगढ़ प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं नगर निगम में नेता विपक्ष देविंदर सिंह बबला और पूर्व डिप्टी मेयर एवं प्रदेश कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता एचएस लक्की ने आज पंजाब के राज्यपाल एवं चंडीगढ़ के प्रशासक वीपी सिंह बदनौर से मुलाकात कर शहर के ज्वलंत मुद्दों को लेकर उन्हें 10 सूत्रीय एक ज्ञापन सौंपा। करीब 45 मिनट की मीटिंग में प्रशासक बदनौर ने बड़े ध्यान से दोनों वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं की बातों को सुना और आश्वासन दिया कि वह जल्द ही इन मुद्दों पर विचार कर जनहित में उचित निर्णय लेंगे। ज्ञापन पर कांग्रेस पार्षद गुरबख्श रावत, सतीश केँथ, शीला फूल सिंह व रविंदर कौर गुजराल ने भी हस्ताक्षर किए। बबला व लक्की ने प्रशासक से कहा कि शहर की जनता के हित से जुड़े कई मामले वर्षों लंबित पड़े हैं, जिन्हें लगातार अनदेखा किया गया है और भाजपा के नेतृत्व वाले चंडीगढ़ नगर निगम व भाजपा प्रदेश नेतृत्व के कारण यह आज भी अनसुलझे हैं।

पंजाब के राज्यपाल एवं चंडीगढ़ के प्रशासक वीपी सिंह बदनौर के साथ बुधवार को मीटिंग के दौरान वरिष्ठ कांग्रेस नेता देविंदर सिंह बबला व एचएस लक्की।

पानी की दरें
कांग्रेस नेताओं ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व वाले नगर निगम द्वारा हाल ही में पानी की दरों में वृद्धि की गई। तत्पश्चात शहर निवासियों और चंडीगढ़ कांग्रेस द्वारा विरोध प्रदर्शन के बाद निगम पानी की बढ़ी हुई दरों को को कम करने के लिए बाध्य हुआ और प्रस्ताव चंडीगढ़ प्रशासन के पुनर्विचार के लिए भेजना पड़ा। इसलिए पानी के बढ़े हुए टैरिफ को तुरंत रोलबैक करें और चंडीगढ़ के निवासियों को राहत दें। ऐसा न करने पर चण्डीगढ़ कांग्रेस इस मुद्दे पर अपना आंदोलन फिर शुरू करने के लिए बाध्य होगी।

हाउसिंग बोर्ड
बबला व लक्की ने कहा कि चंडीगढ़ आवास बोर्ड के मालिकों को ध्वस्तीकरण और दंड के लिए नोटिस का मुद्दा लंबे समय से लटका हुआ है। भारतीय जनता पार्टी उनसे पहले भी वादे कर चुकी है, लेकिन उनकी समस्याओं को खत्म करने के लिए आज तक कुछ नहीं किया गया। अब निर्णायक कार्रवाई करने और उन्हें राहत देने का समय है। इसलिए प्रशासन को उन्हें तुरंत राहत देनी चाहिए और मकानों में जरूरत के हिसाब से किए बदलावों को नियमित करना चाहिए।

लाल डोरा

देविंदर सिंह बबला व एचएस लक्की ने कहा कि काफी लम्बे समय से चंडीगढ़ के गांवों के निवासियों द्वारा लाल डोरा के विस्तार का अनुरोध किया जा रहा है, लेकिन उनकी सभी मांगें नजरअंदाज की गईं और इस संबंध में कुछ भी नहीं किया गया है। चंडीगढ़ में गांवों की हालत बद से बदतर होती चली गई है और वह उपेक्षित महसूस रहे हैं। गांवों को नगर निगम में शामिल करने से उनकी उपेक्षा में और इजाफा हुआ है। इसलिए यह मांग की जाती है कि एक व्यापक योजना बनाई जाए और इन गांवों के सम्पूर्ण विकास के लिए धनराशि जारी की जाए और लाल डोरा खत्म किया जाए।

डंपिंग ग्राउंड

उन्होंने प्रशासक से कहा कि डड्डूमाजरा में डंपिंग ग्राउंड अंतरराष्ट्रीय शर्म का विषय बन गया है। चंडीगढ़ शहर बहुत ही सुंदर है और यह भारत के पहले प्रधानमंत्री स्वर्गीय पंडित जवाहर लाल नेहरू के सपनो का शहर है। वह इसमें एक आधुनिक, पुनरुत्थानवादी, जीवंत शहर का सपना देखते थे, लेकिन यह कहते हुए दुख हो रहा है कि डड्डूमाजरा की दुर्दशा देखकर उनकी आत्मा भी सिहर उठी होगी और स्वर्ग में भी पीड़ा अनुभव कर रही होगी। डड्डूमाजरा के निवासियों को होने वाले निरंतर स्वास्थ्य संबंधी खतरे गंभीर चिंता का विषय है। डंपिंग ग्राउंड पर कूड़े के पहाड़ में बार-बार आग लगना और जहरीली गैस निवासियों के कष्टों को बढ़ा रही है। उसका तत्काल समाधान आवश्यक है और इसमें तुरंत कडे़ कदम उठाए जाने की जरूरत है। चंडीगढ़ प्रदेश कांग्रेस एक बार फिर डड्डूमाजरा और आसपास के निवासियों के लिए आर्थिक मुआवजा देने की मांग करती है।

कर्मचारी

बबला व लक्की ने प्रशासक से यह भी कहा कि चंडीगढ़ बिजली विभाग के निजीकरण के लिए चंडिगढ़ प्रशासन का हालिया कदम एक तर्कहीन निर्णय है, क्योंकि विभाग मुनाफे में है और ऐसे कर्मचारी विरोधी निर्णय केवल कुछ भी बेचने की बीजेपी सरकार की नीति दिखाते हैं और इस सब को तुरंत रोक देना चाहिए क्योंकि इससे UT के कर्मचारी बहुत अधिक पीड़ा में हैं। वैसे भी चंडीगढ़ प्रशासन और नगर निगम कर्मचारी विरोधी फैसले लेते रहते हैं जिन्हें किसी कीमत पर भी बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और चंडीगढ़ प्रदेश कांग्रेस शहर के हर कर्मचारी के साथ खड़ी हे।

नागरिक सुविधाएं
कांग्रेस नेताओं ने कहा कि शहर में नागरिक सुविधाओं का बुरा हाल है। सड़कें टूटी हुई हैं, पार्क उपेक्षा में हैं, पूरा शहर विभिन्न कंपनियों द्वारा खोदा गया है और बीजेपी के नेतृत्व वाले नगर निगम द्वारा कोई रखरखाव नहीं किया जाता है। बाजारों में सार्वजनिक शौचालय से बदबू आती है, टूटी टाइल्स, मलबा हर जगह दिखता है। कूड़े के ढेर इधर-उधर पड़े हैं। सहज सफ़ारी केंद्र कचरे से भरे पड़े हैं, ऐसा लगता है कि चंडीगढ में किसी को भी इसकी परवाह नहीं है। ऐसा लगता है कि नगर निगम ने अपनी प्रासंगिकता खो दी है और शहर के लोग अब यह चाहने लगे हैं कि अगर इस तरह के हालात जारी रहते हैं तो इस से अच्छा है कि नगर निगम को भंग कर दिया जाए।

नियुक्ति
कांग्रेस नेताओं ने कहा कि कचरा उठाने वाले वाहनों पर ड्राइवरों और अन्य कर्मचारियों की हाल की नियुक्तियों ने बहुत शक पैदा किया है । लोगों द्वारा खुले तौर पर आरोप लगाया जा रहा है कि नियुक्तियों में भ्रष्टाचार किया गया है और किसी भी नियम और कानून का पालन नहीं किया गया है। कृपया सुनिश्चित करें कि इस तरह की प्रक्रिया में पारदर्शिता का पालन किया जाए और कृपया स्तिथि को साफ करने के लिए जांच का आदेश दिया जाए । नगर निगम चंडीगढ़ में पसंदीदा अधिकारियों जिनका संदिग्ध अतीत है को लाने का प्रयास किया जा रहा है, ऐसे प्रयासों को तुरंत विफल किया जाना चाहिए।

कलेक्टर रेट
कांग्रेस नेताओं ने प्रशासक वीपी सिंह बदनौर से कहा कि मध्य मार्ग और औद्योगिक क्षेत्र में कलेक्टर रेट को 10% तक कम करने के चंडीगढ प्रशासन के हालिया निर्णय से बहुत कम राहत मिली है। इसके अलावा, गांव की भूमि के कलेक्टर रेट में 10% की वृद्धि भी बहुत कम है। उद्योगपतियों और अन्य वाणिज्यिक संपत्ति खरीदारों को राहत प्रदान करने के लिए अधिक व्यावहारिक निर्णय लें। इसके अलावा न्यूनतम शुल्क पर लीजहोल्ड से फ्री होल्ड संपत्ति को स्थानांतरित करने के लिए तत्काल कदम उठाए जाने चाहिए जो उद्योग को बढ़ावा देने में मदद करेंगे। कोऑपरेटिव सोसाइटीज में भी कलेक्टर रेट बढ़ाया जाना गलत है और इसे वापस लेना चाहिए ।

कालोनी

बबला व लक्की ने कहा कि पुनर्वास मकानों का स्वामित्व टेनामेंट, Ews कालोनियों में रहने वाले लोगों को दिया जाना चाहिए। शहर की पुनर्वास कालोनियों में हालात बहुत खराब है और बुनियादी सुविधाओं का भी बुरा हाल है ऐसे में कालोनी निवासी नरकीय जीवन जीने के लिए मजबूर हे, प्रशासन और नगर निगम को तुरंत यहां के हालात सुधारने के लिए कदम उठाने चाहिए।

कोरोना

कांग्रेस नेताओं ने कहा कि कोरोना महामारी के समय में शहर में स्वास्थ्य सेवाओं को और मजबूत करने की जरूरत है तथा अस्पतालो में बैड बढ़ाए जाने चाहिए। किसी भी मरीज की बैड या आक्सीजन की कमी के कारण मृत्यु नहीं होनी चाहिए।

error: Content can\\\'t be selected!!