आज भारत के बंटवारे का दर्द सांझा करने का दिन, कामना करते हैं कि ऐसा दिन दोबारा देखने को न मिले: अरुण सूद
CHANDIGARH, 14 AUGUST: चंडीगढ़ प्रदेश भाजपा ने भारत के बंटवारे के दिन 14 अगस्त को विभाजन विभाषिका स्मृति दिवस के रूप में मनाया, जिसके तहत चंडीगढ़ के सभी 35 वार्डों में मौन यात्रा आयोजित की गई व बंटवारे का दंश झेल चुके विस्थापितों के दर्द को याद कर उसे लोगों तक पहुंचाने की कोशिश की गई।
चंडीगढ़ प्रदेश भाजपा प्रवक्ता कैलाश चंद जैन ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान पर हर वर्ष 14 अगस्त को पूरे देश में विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस के रूप में मनाए जाने का फैसला किया गया है। इसी के तहत आज चंडीगढ़ के सभी मंडलों (वार्डों) में मौन जुलूस यात्रा निकाली गई व बटवारे का दंश झेल चुके परिवारों को याद किया गया। इस दौरान चंडीगढ़ प्रदेश भाजपा अध्यक्ष अरुण सूद ने 5 मंडलों की यात्रा में हिस्सा लिया, जिनमें मलोया, सेक्टर 47 तथा मनिमाजरा शामिल है।
इन मौन यात्राओं में मंडल नंबर 28 में अरुण सूद के साथ कार्यक्रम संयोजक एवं प्रदेश प्रवक्ता कैलाश चंद जैन, जिला अध्यक्ष रविंद्र पठानिया, जिला कार्यक्रम संयोजक मीनाक्षी ठाकुर, मंडल अध्यक्ष राहुल द्विवेदी सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता शामिल हुए।
इसी प्रकार मंडल नंबर 21 में प्रदेशाध्यक्ष अरुण सूद, जिला अध्यक्ष नरेश पांचाल, जिला संयोजक राजेश अरोड़ा तथा मंडल अध्यक्ष अवि भसीन के साथ सैकड़ों की संख्या में कार्यकर्ताओं व आमजन ने हिस्सा लिया, जबकि मनीमाजरा के मंडल नंबर 4, 5, 6 की यात्राओं में भी अरुण सूद ने हिस्सा लिया। इनमें जिला अध्यक्ष मनीष भसीन मन्नू, कार्यक्रम संयोजक संजीव वर्मा, जिला उपाध्यक्ष राजेश चहल, मुकेश शर्मा, मंडल अध्यक्ष अमित बिड़ला व अशोक जोशी के अलावा बड़ी संख्या में कायकर्ता व आम लोग शामिल हुए। इनके अलावा सभी वार्डों में मंडल अध्यक्षों के नेतृत्व में मौन जुलूस निकाले गए। सभी मंडलों में पार्टी के प्रदेश पदाधिकारियों ने शिरकत की व उनके अलावा बड़ी संख्या में कार्यकर्ताओं ने हिस्सा लिया।
इस अवसर पर प्रदेश भाजपा अध्यक्ष अरुण सूद ने कहा कि आज का दिन हिंदुस्तान के बंटवारे के समय के दर्द को याद करने का दिन है। 14 अगस्त 1947 को भारत का बंटवारा कर दिया गया था और पाकिस्तान बना। इसके बाद दोनों तरफ दंगे भड़के और लाखों की संख्या में लोगों ने जान गवाई। यह वह समय था जब लोगों को अपने घर बार छोड़कर विस्थापित होना पड़ा। सूद ने कहा कि हम आज बंटवारे के उस दिन को याद करके यही कामना करते हैं कि आज के कार्यक्रमो से आज की पीढ़ी को जानकारी मिलेगी और ऐसा दिन दोबारा देखने को न मिले।