CHANDIGARH: भारत में कोविड वैक्सीन का प्रयोग शुरू होने के अंतिम चरण में पहुँचने से पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने आज ऐलान किया कि भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आई.सी.एम.आर.) की एक बार मंजूरी मिलने पर पंजाब में वैक्सीन का पहला टीका वह खुद लगवाएंगे। मुख्यमंत्री ने यह ऐलान वर्चुअल कैबिनेट मीटिंग के दौरान किया जिसमें पंजाब में कोविड की स्थिति और वैक्सीन के लिए राज्य की तैयारियों संबंधी चर्चा की गई।
मीटिंग के दौरान बताया गया कि कोरोना की वैक्सीन के लिए भारत सरकार की रणनीति के तजऱ् पर पंजाब ने स्वस्थ्य कामगारों, फ्रंटलाईन वर्करों, बुज़ुर्गों की आबादी (50 साल से अधिक) और अन्य बीमारियों से पीडि़त लोग (50 साल या इससे कम) को प्राथमिक वर्ग में शामिल किया है। पंजाब के स्वास्थ्य सचिव हुस्न लाल के मुताबिक राज्य ने 1.25 लाख सरकारी और प्राईवेट स्वास्थ्य कामगारों का डाटा तैयार किया है जिनको पहले चरण में वैक्सीन दी जानी है।
उन्होंने कहा कि भारत सरकार की वैक्सीन संबंधी प्राथमिकता के हिसाब से राज्य की लगभग 3 करोड़ की आबादी में से राज्य की तकरीबन 23 प्रतिशत जनसंख्या (70 लाख) इसके घेरे में आती है।वैक्सीन के सुचारू ढंग से प्रयोग को यकीनी बनाने के लिए राज्य की संचालन समिति, राष्ट्रीय संचालन समिति के साथ नज़दीकी तालमेल रख रही है जबकि प्रांतीय टास्क फोर्स द्वारा इसके लिए जि़ला और ब्लॉक स्तर की समितियों के साथ मिलकर काम किया जायेगा।
विश्व स्वास्थ्य संगठन, यू.एन.डी.पी. जैसी संस्थाएं इस प्रक्रिया में विकासमुखी सहयोगियों के तौर पर काम कर रही हैं।मौजूदा सुविधाओं का जायज़ा लेने के बाद राज्य ने केंद्र सरकार को वैक्सीन वैनों, फ्रीज़र, रेफ्रीजरेटर, कोल्ड बॉक्स, वैक्सीन कैरियर, आईस पैक, थर्मोमीटर और स्टैबलाईजऱ समेत अन्य कोल्ड चेन साजो-सामान मुहैया करवाने की अपील की है।