CHANDIGARH, 21 MARCH: कनाडा से आईं कवियत्री उर्मिल शर्मा के काव्य संग्रह ‘चेतना’ का विमोचन चंडीगढ़ में हुआ। यह काव्य संग्रह हिंदी, अंग्रेजी और पंजाबी तीनों भाषाओं में है। अंग्रेजी में इसका अनुवाद चंडीगढ़ के जाने-माने लेखक विजय कपूर ने और हिंदी में अनुवाद डॉ. दलजीत कौर ने किया है।
कवियत्री उर्मिल शर्मा ने अपनी जिंदगी का बड़ा हिस्सा चंडीगढ़ के एक स्कूल की प्रिंसीपल के रूप में बिताया और अब कई वर्षों से कनाडा में रह रही हैं। इन पर परमहंस योगानंद जी की धार्मिक शिक्षा का प्रभाव है और यह प्रभाव इनकी कविताओं पर भी स्पष्ट दिखाई देता है। इनकी कविताओं में ईश्वर और मानवता की बात है। ईश्वर के प्रति समर्पण का भाव है। विमोचन के मौके पर अंग्रेजी की किताब पर डॉ. कैलाश आहलुवालिया ने, हिंदी की किताब पर डॉ. शशि प्रभा ने व पंजाबी की किताब पर परमजीत परम ने अपने विचार रखे। विजय कपूर ने उर्मिल शर्मा की कविता प्रक्रिया पर बात की। साहित्यकार प्रेम विज ने कार्यक्रम की शुरुआत डॉ. दलजीत कौर की दिवंगत माताजी को श्रद्धांजलि देकर की और उर्मिल शर्मा का साहित्य जगत में स्वागत किया। इस मौके पर डॉ. प्रज्ञा शारदा, सरिता मलिक, लाजवंती, सुभाष भास्कर, कामिनी शर्मा, रूपाली कमल, प्रेम विज, डॉ. कैलाश आहलुवालिया, डॉ. शशि प्रभा, परमजीत परम, दलजीत कौर और जगमोहन कौर ने अपनी कविताएं भी प्रस्तुत कीं।