MUMBAI, 23 JULY: भारत सरकार द्वारा आयोजित किये जाने वाला राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार दो साल के अंतराल के बाद फिर से शुरू हो गया है। नई दिल्ली में शुक्रवार (22 जुलाई) को 68 वें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कारों की जूरी ने साल 2020 के लिए विजेताओं की घोषणा की। पुरस्कारों में फिल्म तान्हाजी द अनसंग वॉरियर के लिए अजय देवगन और सोरारई पोटरु के लिए साउथ स्टार सूर्या को बेस्ट एक्टर का अवॉर्ड प्रदान किया जाएगा। सूर्या की सोरारई पोटरु बेस्ट फीचर फिल्म और बेस्ट हिंदी फिल्म तुलसीदास जूनियर रही। केन्द्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने सभी विजेताओं को बधाई देते हुए कहा कि कोरोना के कारण देश के सामने कई चुनौतियां पेश आईं, खासकर फिल्म जगत के लिए यह एक बड़ी चुनौती थी। फिल्म की शूटिंग बीच में रोकना या फिर फिल्म थियेटर में न लगना अपने आप में एक बड़ी चुनौती थी। इसके बावजूद जूरी के पास कई अच्छी फिल्में आईं।
हिन्दी फिल्मों में तुलसीदास जूनियर बेस्ट
राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कारों की घोषणा के अनुसार बेस्ट हिंदी फीचर फिल्म का अवॉर्ड मृदुल तुलसीदास की फिल्म तुलसीदास जूनियर को प्रदान किया जाएगा। फिल्म में संजय दत्त लीड रोल में थे।तुलसीदास जूनियर एक स्पोर्ट्स ड्रामा फिल्म है, जिसमें एक 13 साल के लड़के की कहानी दिखाई गई है। इस फिल्म का निर्देशन मृदुल गुप्ता ने किया है। फिल्म में संजय दत्त, राजीव कपूर और वरुण बुद्धदेव ने लीड रोल प्ले किया है।
तमिल फिल्म सोरारई पोटरु भी छाई
तमिल सिनेमा के लिए शुक्रवार का दिन ऐतिहासिक रहा। इस साल आई तमिल फिल्म सोरारई पोटरु के अभिनेता सूर्या को बेस्ट एक्टर और अभिनेत्री अपर्णा बालमुरली को बेस्ट एक्ट्रेस का अवॉर्ड मिलेगा। सोरारई पोटरु एक ऐसे इंसान की कहानी है जो आम आदमी को आसमान में उड़ाने का सपना देखता है। वह अपने परिवार, दोस्तों और जुनून की वजह से दुनिया की सबसे बड़ी इंडस्ट्री को अपने नाम कर लेता है। इसके अलावा मलयालम फिल्म एके अयप्पन कोशियम के लिए दिवंगत डायरेक्टर सच्चिदानंद केआर को बेस्ट डायरेक्टर का अवॉर्ड मरणोपरांत प्रदान किया जाएगा।
भारत दुनिया में सबसे बड़ा फिल्म निर्माता
भारतीय फिल्म उद्योग देश के 130 करोड़ लोगों को मनोरंजन का प्रमुख साधन है। हर साल भारत में हजारों फिल्में बनती है जिनमें मनोरंजन के साथ-साथ सामाजिक संदेश भी शामिल होता है। केन्द्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि भारत दुनिया में सबसे बड़ा फिल्म निर्माता है। लाखों रोजगार के अवसर भी देता है। देश का फिल्म क्षेत्र अपनी विविधता एक अलग पहचान रखता है। यह एक साथ कई भाषाओं सहित अलग- अलग विधा पर आधारित फिल्में बनती हैं।
कोविड महामारी के बावजूद अच्छा रहा प्रदर्शन
कोविड महामारी के कारण साल 2020 फिल्मों के लिए खास तौर पर मुश्किल साल रहा, फिर भी राष्ट्रीय पुरस्कार के लिए इन नामांकनों में कुछ बहुत अद्भुत फिल्में देखने को मिली हैं। राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार के चुनाव के लिए जूरी बनाई गई थी, जिन्होंने नामांकित फिल्मों को बारीकी से देखकर पुरस्कारों के लिए चुना। इस जूरी में भारतीय सिने जगत के प्रख्यात फिल्मकार और फिल्मी हस्तियां शामिल थीं। केन्द्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने जूरी का भी धन्यवाद किया जिन्होंने पूरी लगन के साथ इन प्रविष्टियों को देखा और इनमें से पुरस्कारों के लिए सर्वश्रेष्ठ को चुना। राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार इस साल के अंत में एक समारोह में दिए जाएंगे।